लखनऊ: राज्य सरकार की दोहरी नीति, अल्पसंख्यकों के अधिकारों से अन्देखी और मुसलमानों के खिलाफ सुनियोजित षड्यंत्र के खिलाफ छोटे इमामबाड़े पर विरोध प्रदर्शन किया गया जिसमें उल्ेमा के साथ जनता मौजूद रही । जलसे को संबोधित करते हुए मजलिसे उल्माये हिन्द के महासचिव मौलाना सैयद कल्बे जवाद नकवी ने कहा कि यह सरकार न हिंदुओं की है और न मुसलमानों की। इस सरकार ने न कोई काम हिंदुओं के लिए किया है और न कोई काम मुसलमानों के लिए
किया।
सरकार ने मुसलमानों से 18 प्रसेन्ट आरक्षण का वादा किया था लेकिन इस वादे का अब तक कहीं उल्लेख नहीं किया गया। सरकार में तथाकथित मुस्लिम नेता भी चुप हैं इसका मतलब है कि उन्हें मुसलमानों के अधिकारों की वसूली से कोई रुचि नहीं ये लोग केवल सरकार के खरीदे हुए हैं ।राज्य सरकार केवल अपने क्षेत्र के यादव लोगों के लिए काम करता है अन्य क्षेत्रों के यादव जाति के लोगों के साथ धोखा किया है। पुलिस भर्ती में 90 परसेंट से भी ज्यादा यादव अपने क्षेत्र
मैनपुरी, कन्नोज और एटा के शामिल किए गए हैं यह अन्य हिंदुओं के साथ भी अन्याय
किया गया है।
मौलाना ने आगे कहा के 200 से अधिक दंगे कराने वाली सरकार न हिंदुओं की है और न मुसलमानों की ।उसके दामन पर मुसलमानों के कत्ल के दाग हैं ।मुसलमान इस सरकार में मजलूम है और सरकार चाहती है मुसलमानों का नरसंहार क्या जासे । हर दंगे में हिंदू मुसलमान मारे जाते हैं और यह दंगे सिर्फ इसलिए कराए जाते हैं ताकि हिंदू मुसलमान एकजुट होकर एक साथ न बैठें अन्यथा उन्हें वोट कौन देगा और उनकी मानसिकता सामने आजाईगी।
मौलाना ने कहा कि सरकार चाहती है कि वक्फ बोर्ड में हमेशा बेईमान और भ्रष्ट लोग रहें ताकि वह शिया वक्फ सम्मत्यिों को इसी तरह बर्बाद करती रहे ।बेइमानों और देश के दुश्मनों को वक्फ बोर्ड में लाया गया है ।जिन को सदस्य चुना गया है
उनकी जांच होनी चाहिए । वक्फ को बेचने वाले लोग सदस्य बने हुए हैं तो ऐसे लोग क्या वक्फ के हित में काम करेंगे।
ऑल इंडिया सुन्नी उल्ेमा कौंसिल के महासचिव हाजी मोहम्मद सलीस ने कहा कि समाजवादी सरकार के लगातार झूठे वादों से मुसलमान मायूस हो चुके हैं।
सरकारी की नाानसाफयाँ और मुस्लिम दुश्मनी अब किसी से छुपी नहीं है .मसलमानों ने सरकार को इसलिए वोट दिया था ताकि उन्हें उनके अधिकार मिल सकें, आरक्षण मिल सके। इस सरकार से बहुत उम्मीदें थीं लेकिन यह सरकार बिल्कुल निकम्मी सरकार है .मसलमानों को इस सरकार ने केवल वंचित रखा है .2017 में समाजवादी सरकार अपनी खैर मनाए .हाजी मोहम्मद सलीस के साथ कई एहलेसुन्नत सज्जादा नशीन भी विरोध सभा
में शामिल हुए उन्होंने कहा कि हम इस आंदोलन का समर्थन करते हैं और पूरी तरह मौलाना सैयद कल्बे जव्वाद के साथ हैं क्योंकि जो नाउम्मीदी और मेहरूमी वह झेल रहे हैं उसी के हम भी शिकार हैं।
जलसे में सरकार की नाइंसाफियों के खिलाफ नारे बाजी हुई, प्रदर्शनकारियों ने सपा मुर्दाबाद, मुलाायम सिंह यादव मुर्दाबाद, अखिलेश यादव मुर्दाबाद,समाजवादी सरकार गुन्डार्गदी बन्द करे,गुन्डों की सरकार समातवादी सरकार के नारे लगा रहे
थे।
सभा में मौलाना हबीब हैदर, मौलाना रजा हुसैन, मौलाना फिरोज हुसैन, मौलाना तसनीम महदी, मौलाना अमीर हैदर, मौलाना जोार हुसैन, मौलाना हसन जाफर, मौलाना शबाब हैदर, और अन्य आलिमों साथ बड़ी संख्या में जनता भी मौजूद रही।