भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अमरीका के दौरे से ठीक पहले एक अमरीकी न्यायालय ने उनके ख़िलाफ़ समन जारी कर दिया है।
मोदी के विरुद्ध यह समन गुजरात दंगों को लेकर जारी किया गया है। न्यूयॉर्क साउदर्न डिस्ट्रिक्ट के संघीय न्यायालय ने वर्ष 2002 के गुजरात दंगों में नरेंद्र मोदी की भूमिका को लेकर समन जारी किया है। यह समन अमेरिकन जस्टिस सेंटर नाम के एक मानवाधिकार संगठन की याचिका पर जारी किया गया है।
अपनी याचिका में मानवाधिकार संगठन ने नरेंद्र मोदी को नरसंहार का दोषी बताया है। मोदी पर आरोप लगाया गया है कि उनकी निगरानी में लोगों को मारा गया, महिलाओं को बेघर किया गया और उनके साथ बुरा बर्ताव हुआ। संगठन का कहना है कि गुजरात दंगों में पीड़ितों के अधिकारों का हनन हुआ है अतः नरेंद्र मोदी के विरुद्ध कार्यवाही की जानी चाहिए। संगठन ने दंगा पीड़ितों को मुआवजा दिए जाने की भी मांग की है।
अमरीका के इस संघीय न्यायालय द्वारा भारतीय प्रधानमंत्री के ख़िलाफ़ समन जारी किए जाने पर सतारूढ़ भारतीय जनता पार्टी ने शुक्रवार को कहा कि एक राष्ट्र प्रमुख के रूप मोदी के वहां जाने पर इस प्रकार का मुद्दा उठाए जाने का कोई अर्थ नहीं है। समन पर प्रतिक्रिया देते हुए भारत के क़ानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि सरकार, मोदी के विरुद्ध अमरीकी न्यायालय के समन की जांच करेगी।