लखनऊ के गोमतीनगर स्थित फन मॉल में शुक्रवार को आतंकी हमला होने की सूचना पुलिस कंट्रोल रूम को दी गई। सूचना मिलते ही राजधानी पुलिस के साथ एटीएस, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पीएसी की टीमें पहुंच गईं। टीमों ने संयुक्त अभ्यास के दौरान आतंकी हमले को नाकाम किया। वहीं बम निरोधक दस्ता, डॉग स्क्वॉयड को बुलाया गया।
राजधानी में आतंकी हमले से निपटने के लिए एटीएस, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पीएसी और उत्तर प्रदेश पुलिस ने संयुक्त अभ्यास किया। इसके लिए फन मॉल में आतंकी हमले की सूचना प्रसारित कराई गई। सूचना मिलने पर एटीएस के विशेष दस्ते ने पूरी इमारत को चारों तरफ से घेर लिया।
मॉल के अंदर और छत पर फंसे पुरुष, महिलाएं और बच्चे चीख पुकार कर रहे थे। इस बीच एटीएस का दस्ता कवरिंग फायर देते हुए एक दस्ता मॉल के अंदर दाखिल होता है।
उधर, राहत एवं बचाव कार्य की मॉनिटरिंग कर रहे एनडीआरएफ टीम को को अलर्ट किया। आननफानन मेडिकल बेस बनाया गया। एनडीआरएफ के इंस्पेक्टर धर्मेंद्र पांडेय ने माइक से कमांड एवं निर्देश देना शुरू किया। एसडीआरफ के एएसपी शुएब इकबाल अपनी टीम की मॉनिटरिंग कर रहे थे।
इस बीच एटीएस टीम ने पांच आतंकियों को मॉल के अंदर मार किराया। कई आतंकियों को पकड़कर एटीएस की टीम बेसमेंट से पीछे के रास्ते लेकर चली गई। तभी एक आतंकी ने आरडीडी (रेडियोलॉजिकल डिस्प्रेजल डिवाइस) विस्फोटक लगाकर सुसाइड ब्लास्ट कर लिया।
बड़ी संख्या में लोग घायल हुए। होमगार्ड्स, पीएसी, एसडीआरएफ के जवानों ने स्ट्रेचर और दो लोगों की मदद से हाथों के बीच में बैठाकर बाहर स्थित मेडिकल कैंप तक पहुंचाया। जहां उनका इलाज शुरू हुआ।
वहीं, सिविल डिफेंस के चीफ वार्डेन अमरनाथ मिश्रा ने अपनी टीम लगाकर भीड़ को काबू किया। माइक पर निर्देश देते रहे। पूरे ऑपरेशन की मॉनिटरिंग उत्तर प्रदेश आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के उपाध्यक्ष मेजर जनरल आरपी शाही ने की। इसके अलावा एनडीआरएफ के डीआइजी आलोक कुमार सिंह व अन्य अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहें।